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वनस्पति के विकास को प्रभावित करने वाले कारक (Factors Affecting Growth of Vegetation)

वनस्पति के विकास को प्रभावित करने वाले कारक (Factors Affecting Growth of Vegetation)-

  • वनस्पति के विकास को मुख्यतः चार कारक प्रभावित करते हैं। जैसे-
  • 1. उच्चावच (Relief Features)
  • 2. सूर्य का प्रकाश (Photo Period)
  • 3. मृदा (Soil)
  • 4. जलवायु (Climate)


1. उच्चावच (Relief Features)-

  • पर्वतीय क्षेत्रों (Mountainous regions) में विभिन्न ऊंचाई (Different Altitudes) पर विभिन्न प्रकार की वनस्पति (Different types of vegetation) का विकास होता है।
  • उबड़-खाबड़ पथरीले क्षेत्रों (Rough rocky area) में वनस्पति का विकास कम और समतल मैदानी (Flat plain) क्षेत्रों में वनस्पति का विकास अधिका होता है।
  • तटवर्ती क्षेत्र (Coastal Area) में विशेष वनस्पति का विकास होता है। जैसे- मैंग्रोव वनस्पति (Mangrove Vegetation)


2. सूर्य का प्रकाश (Photo Period)-

  • वनस्पति के विकास में सूर्य का प्रकाश, प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis) के लिए आवश्यक है।
  • जहाँ सूर्य का प्रकाश अधिक होता है वहाँ वनस्पति का विकास अधिक होता है। जैसे-
  • (I) हिमालय के दक्षिणी ढालों पर अधिक वनस्पति का होना। (Having more vegetation on the southern slopes of Himalayas)


3. मृदा (Soil)-

  • उपजाऊ (Fertile) मृदा में वनस्पति का विकास अधिक होता है। जैसे-
  • (I) जलोढ़ मृदा में वनस्पति अधिक विकसित होती है। (More growth of vegetation takes place in alluvial soil)
  • (II) शुष्क मृदा में काँटेदार वनस्पति का विकास होता है। (Thorny vegetation grows in arid soil)
  • (III) लेटेराइट मृदा में सदाबहार वर्षा वन पाए जाते हैं। (Evergreen rain forests are found in laterite soil)


4. जलवायु (Climate)-

  • (I) तापमान (Temperature)-
    • (A) उष्णकटिबंधिय (Tropical)
    • (B) शीतोष्णकटिबंधिय (Temperate)
  • (II) वर्षा (Rainfall)-
    • (A) सदाबहार (Evergreen) = > 200 cm वर्षा
    • (B) पतझड़ (Deciduous) = 75-200 cm वर्षा
    • (C) कांटेदार (Thorney) = 25-75 cm वर्षा
    • (D) मरुदभिद (Xerophytes) = < 25  वर्षा


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